*मन न जाने कहां कहां भटकते रहता है स्थिर नहीं रहता है।चंचल च
*मन न जाने कहां कहां भटकते रहता है स्थिर नहीं रहता है।चंचल चित्त मन को खुश रखने के लिए कुछ न कुछ नया करने या कुछ परिवर्तन करने में जुटे ही रहता है लेकिन ईश्वर की भक्ति भाव साधना में लीन हो जाने से मन प्रसन्न चित्त हो सुखी जीवन जीने की प्रेरणा देता है जो अदृश्य शक्ति देता है और जो कहीं भी किसी जगह नही मिलता है।✨🌟⭐🙏🌹🌈 जय श्री कृष्णा जय श्री राधे