Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 Jun 2024 · 1 min read

मनुष्य को

मनुष्य को स्वास्थ्य की ओर बढना,
अंधेरे से उजाले की ओर चलना,
मृत्यु से अमरत्व की ओर बढना चाहिए।

1 Like · 145 Views

You may also like these posts

बुझ दिल नसे काटते है ,बहादुर नही ,
बुझ दिल नसे काटते है ,बहादुर नही ,
Neelofar Khan
होते हैं कई लोग
होते हैं कई लोग
Dr. Kishan tandon kranti
कुछ नहीं बचेगा
कुछ नहीं बचेगा
Akash Agam
जिंदगी में जितने महत्व पूर्ण है
जिंदगी में जितने महत्व पूर्ण है
पूर्वार्थ
बड़ा होने के लिए, छोटों को समझना पड़ता है
बड़ा होने के लिए, छोटों को समझना पड़ता है
Sonam Puneet Dubey
कविता
कविता
Rambali Mishra
उस की आँखें ग़ज़ालों सी थीं - संदीप ठाकुर
उस की आँखें ग़ज़ालों सी थीं - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
वो मानसिक रोगी होता है जो सामान्य रूप से किसी की खुशी में खु
वो मानसिक रोगी होता है जो सामान्य रूप से किसी की खुशी में खु
pratibha Dwivedi urf muskan Sagar Madhya Pradesh
स्वतंत्रता
स्वतंत्रता
Shashi Mahajan
घाव
घाव
अखिलेश 'अखिल'
हवस में डूबा हुआ इस सृष्टि का कोई भी जीव सबसे पहले अपने अंदर
हवस में डूबा हुआ इस सृष्टि का कोई भी जीव सबसे पहले अपने अंदर
Rj Anand Prajapati
बरखा में ऐसा लगे,
बरखा में ऐसा लगे,
sushil sarna
“बधाई हो बधाई सालगिरह”
“बधाई हो बधाई सालगिरह”
DrLakshman Jha Parimal
सुविचार
सुविचार
विनोद कृष्ण सक्सेना, पटवारी
है कोई तेवरी वाला जो... +शम्भुदयाल सिंह ‘सुधाकर’
है कोई तेवरी वाला जो... +शम्भुदयाल सिंह ‘सुधाकर’
कवि रमेशराज
दिल की हसरत सदा यूं ही गुलज़ार हो जाये ।
दिल की हसरत सदा यूं ही गुलज़ार हो जाये ।
Phool gufran
शाम हुई, नन्हें परिंदे घर लौट आते हैं,
शाम हुई, नन्हें परिंदे घर लौट आते हैं,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
तुम भी तो आजकल हमको चाहते हो
तुम भी तो आजकल हमको चाहते हो
Madhuyanka Raj
Inkbound
Inkbound
Tharthing zimik
दोस्ती करली!!
दोस्ती करली!!
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
🙅क्लीन होगा
🙅क्लीन होगा "नीट"🙅
*प्रणय*
चलो गीत गाएं
चलो गीत गाएं
महेश चन्द्र त्रिपाठी
वक्त अब कलुआ के घर का ठौर है
वक्त अब कलुआ के घर का ठौर है
Pt. Brajesh Kumar Nayak / पं बृजेश कुमार नायक
जिस देश में लोग संत बनकर बलात्कार कर सकते है
जिस देश में लोग संत बनकर बलात्कार कर सकते है
शेखर सिंह
भविष्य की पुकार
भविष्य की पुकार
Nitin Kulkarni
वक्त आने पर भ्रम टूट ही जाता है कि कितने अपने साथ है कितने न
वक्त आने पर भ्रम टूट ही जाता है कि कितने अपने साथ है कितने न
Ranjeet kumar patre
कुछ मुस्कुरा के ज़िन्दगी
कुछ मुस्कुरा के ज़िन्दगी
Dr fauzia Naseem shad
पुकार
पुकार
Minal Aggarwal
सब से गंदे चुस्त चालाक साइबर चोर हैँ
सब से गंदे चुस्त चालाक साइबर चोर हैँ
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
सरस रंग
सरस रंग
Punam Pande
Loading...