मनमोहन जल्दी आ जाओ
मनमोहन जल्दी आ जाओ,छाया घना अंधेरा है
अका बकासुर कालयवन, कंसों ने डाला डेरा है
मानवता है घायल कन्हैया, दानवता का पहरा है
छाए हैं आतंक के बादल, भारत को खतरा गहरा है
हिंसा द्वेष रक्तपात से, धरती माता डोल रही
धर्म के नाम पर, अधर्मियों की तूती बोल रही
सांसत में है धर्म संस्कृति,हे भगवान धरा पर आ जाओ
त्राहि त्राहि कर रही धेनू ,आकर मुझे बचाओ
मां बहिनें रोतीं खून के आंसू, कन्याएं नहीं सुरक्षित हैं
वंदी है मानवता, दानवता रक्षित है
हे कृष्ण कन्हैया आ जाओ, धरती को आन बचा जाओ
हम तुम्हारे वचन पर कायम हैं, तुम अपना वचन निभा जाओ
हे बाल कृष्ण तुम आ जाओ,आतंकी कंस को बध जाओ
सुरेश कुमार चतुर्वेदी