भगवान ने जब सबको इस धरती पर समान अधिकारों का अधिकारी बनाकर भ
भगवान ने जब सबको इस धरती पर समान अधिकारों का अधिकारी बनाकर भेजा है तो मैं व्यर्थ क्यों उनके बोलने की स्वाधीनता में टाँग अड़ाऊँ,
निंदक तो निंदा करेंगे मैं क्यों व्यर्थ उनके लिए अपने अश्रु सजाऊँ।
मुझे तो अपनी सफलता की गाथा को सफलतापूर्वक सच्चाई में तब्दील करना है।