बूढ़ा बच्चा
बूढ़ा बच्चा एक बूढ़ा, हाथ में लिए एक छोटी सी गुड़िया, जिसके काले सुनहरे बाल है, जिसके गोरे गोरे गाल है, जिसने रंग बिरंगी ड्रेस पहनी है, बड़ी बड़ी उसकी आंखे है, उस गुड़िया को देख वो बूढ़ा गुनगुनाने लगता है, गुडिया को गोद में उठाकर आइने में देखने लगता है, उसकी गोदमें वो गुड़िया उसे बहोत सुंदर लगने लगती है, और अपने सफेद दाढ़ी और बालों के साथ वो उस गुड़िया के साथ खुदको भी सुंदर महसूस करने लगता है, तभी एक बुढ़िया आकर कुछ हाथ में लिए नजर उतारने लगती है, वो बूढ़ा उससे पूछता है, ” तू क्यों मेरी नजर उतार रही हो?” बुढ़िया बोलती है, ” मै तो गुड़िया की नजर उतार रही हूं “, बूढ़ा फिर आइने में देखकर उस गुड़िया से पूछता है, ” गुड़िया तुझे मेरी नजर लग सकती है क्या? “, तभी बूढ़े की आंखमेंसे एक काली टिकली गुड़िया के गालपर आकर गिरती है और यकायक वो गुड़िया बोल उठती है, “ना ना , नाना”