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8 Feb 2023 · 1 min read

बुद्ध तुम मेरे हृदय में

बुद्ध तुम मेरे ,
हृदय में बसे हो,
भक्ति ये तेरी,
मन में बसी है ।

तुम्ही हो ज्ञाता,
करुणा तुम्हीं हो,
मेरे ऊपर कृपा,
तेरा सदा है।

बुद्ध तुम मेरे………

दुखो से है तुमने,
हमें अब निकाला,
दुःख मुक्ति का ,
मार्ग है बताया।

बुद्ध तुम मेरे……..

जीवन को तुमने,
पंचशील से सवारा,
माध्यम मार्ग का,
पथ है बनाया।

बुद्ध तुम मेरे…….

धम्म जो दिया है,
निर्वाण मिलेगा,
तेरी महिमा का,
उपकार अब रहेगा।

बुद्ध तुम मेरे……….

रचनाकार-
बुद्ध प्रकाश ,
मौदहा,
हमीरपुर।

2 Likes · 2 Comments · 216 Views
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