Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 May 2024 · 1 min read

*बादल*

बादल

बादल आए ,बादल आए।
काली काली बादल छाए।
बिजली कड़के कड़ कड़
बादल गरजे गड़ गड़।
बादल आए……..

शिव शंकर के सौ लटाए
छटने लगी है अब घटाए।
पानी गिरे झम झम
मुन्नी नाचे छम छम।
बादल आए ………

नदी नाले सब भर आए
उसके ऊपर डोंगी चलाए
रास्ते हुए कीच कीच
सोनू मोनू खींच खींच ।
बादल आए………..

आओ सेल्फी अभियान चलाए
गाड़ी घोड़ा देख के चलाए
फोटू खींचे सटे सटे
पेड़ हो गए सब हरे हरे।
बादल आए……..

संतोष कुमार मिरी
शिक्षक दुर्ग

84 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
वो आरज़ू वो इशारे कहाॅं समझते हैं
वो आरज़ू वो इशारे कहाॅं समझते हैं
Monika Arora
मजबूरी
मजबूरी
The_dk_poetry
इंसान
इंसान
Sanjay ' शून्य'
आत्मनिर्भर नारी
आत्मनिर्भर नारी
Anamika Tiwari 'annpurna '
रिश्ते में पारदर्शिता इतनी हो कि
रिश्ते में पारदर्शिता इतनी हो कि
Ranjeet kumar patre
नया साल लेके आए
नया साल लेके आए
Dr fauzia Naseem shad
देख तुम्हें जीती थीं अँखियाँ....
देख तुम्हें जीती थीं अँखियाँ....
डॉ.सीमा अग्रवाल
■ एम है तो एम है।
■ एम है तो एम है।
*प्रणय*
धमकी तुमने दे डाली
धमकी तुमने दे डाली
Shravan singh
कविता के प्रेरणादायक शब्द ही सन्देश हैं।
कविता के प्रेरणादायक शब्द ही सन्देश हैं।
Mrs PUSHPA SHARMA {पुष्पा शर्मा अपराजिता}
जून की दोपहर
जून की दोपहर
Kanchan Khanna
भूलना
भूलना
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
आईना
आईना
Pushpa Tiwari
*जय माँ झंडेया वाली*
*जय माँ झंडेया वाली*
Poonam Matia
बातों को अंदर रखने से
बातों को अंदर रखने से
Mamta Rani
सभी देखेंगे तेरी इक हॅंसी को।
सभी देखेंगे तेरी इक हॅंसी को।
सत्य कुमार प्रेमी
"अतीत"
Dr. Kishan tandon kranti
मां तो फरिश्ता है।
मां तो फरिश्ता है।
Taj Mohammad
तिरंगा
तिरंगा
लक्ष्मी सिंह
दिन भर घूमती हैं लाशे इस शेहर में
दिन भर घूमती हैं लाशे इस शेहर में
गायक - लेखक अजीत कुमार तलवार
ग़ज़ल
ग़ज़ल
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
कभी-कभी नींद बेवजह ही गायब होती है और हम वजह तलाश रहे होते ह
कभी-कभी नींद बेवजह ही गायब होती है और हम वजह तलाश रहे होते ह
पूर्वार्थ
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Godambari Negi
*रंगों का ज्ञान*
*रंगों का ज्ञान*
Dushyant Kumar
4178.💐 *पूर्णिका* 💐
4178.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
कुदरत का करिश्मा है दरख्तों से खुशबू का महकना है ,,
कुदरत का करिश्मा है दरख्तों से खुशबू का महकना है ,,
Neelofar Khan
ईश्वर का अस्तित्व एवं आस्था
ईश्वर का अस्तित्व एवं आस्था
Shyam Sundar Subramanian
Who am I?
Who am I?
R. H. SRIDEVI
प्रेम जब निर्मल होता है,
प्रेम जब निर्मल होता है,
हिमांशु Kulshrestha
*चुनावी कुंडलिया*
*चुनावी कुंडलिया*
Ravi Prakash
Loading...