बदलाव जरूरी है
जिंदगी में तय समय पर बदलाव जरूरी है।
जैसे जीने के लिए ,मन में चाव जरूरी है।
बेतहाशा प्यार चाहते हो ग़र जिंदगी में
थोड़ा ब दर रिश्ते में, मनमुटाव जरूरी है।
जब किसी मुद्दे पर ,एक मत न हो पाये
बातों में फिर थोड़ा सा भटकाव जरूरी है।
सर्द लहजों से जब रिश्तों पर बर्फ जमे
मीठे लहज़े,विश्वास का अलाव जरूरी है
तल्ख हकीकतों से जब जिंदगी से ऊबो
प्रभु सिमरन का थोड़ा, ठहराव जरूरी है
रिश्तों में ग़र दरारें पड़ने लग जाये तो
आपसी समझौते से अलगाव जरूरी है।
आपकी शायरी में हो दर्द की गहराईयां
इश्क में बेवफाई का दिल पर घाव जरूरी है।
सुरिंदर कौर