बदमाश ड्रैगन
निर्णयअब लेने का समय आ गया है।
धूर्त वह मक्कार, चालबाज है
स्वार्थ से भरपूर, बदमिजाज है,
बदमाश, बाजारू और घटिया है वो
दुनिया के मुल्कों का वह गुनाहगार है।
सबक अब सिखाने का समय आ गया है
निर्णय अब लेने का समय आ गया है।
दुनिया को संकट देकर निस्फिक्र हो रहा
मैंने नहीं किया कुछ, सबसे कह रहा,
आपदा पर भी कर रहा व्यापार दुनिया से
स्वार्थ की पराकाष्ठा को पार कर रहा
ड्रैगन को औकात दिखाने का समय आ गया है,
निर्णय अब लेने का समय आ गया है।
सीमाओं पर हमारी घात वह करता
दुश्मन का हमारे निकट दोस्त है बनता,
करता वह अभिमान में नित नए कांड है
बाँसठ का भारत हमें वह आज भी समझता
मुँह तोड़ जवाब अब देने का समय आ गया है
निर्णय अब लेने का समय आ गया है।
दोस्तों चीन अब हमारे लिए नित नयी समस्याओं
का जनक बनता जा रहा है। मैने इस कविता में
चीनी सामान के बहिष्कार की अपील नही की है
लेकिन जितना हो सके बहिष्कार करें, धीरे धीरे अपनी
निर्भरता कम करें। एक एक कर सभी तरह की निर्भरता कम करें।
जो समान हमारे पास है उसकी हमने कीमत अदा की है,
तो कुतर्क में न फंसे।
और इस कविता को आगे बढ़ाये।
गोविन्द मोदी-8209507223