प्यार की बारिश हो जाये/मंदीप
प्यार की बारिश हो जाये/मंदीप
चारो तरफ प्यार की बारिश हो जाये,
हर एक कली फूल बन जाये।
मिटा दो अब सभी फासले,
दो दिल अब एक हो जाये।
मत हार देख तुम दरिया को,
कर बरोसा खुद पर हर दरिया पार हो जाये।
सिख ले एक दूसरे से सभी,
हर एक आदमी इंसान बन जाये।
ना ले अगर हम दहेज किसी से,
किसी की बेटी आत्महत्या ना करने जाये।
साथ ना दे कभी झूठ का,
एक बार फिर राम राज आ जाये।
हो अगर दिल में प्यार ,
दो सरहदे एक हो जाये।
“मंदीप” बोल हमेसा प्यार की भाषा,
फिर इंसान तो क्या जानवर भी दोस्त बन जाये।
मंदीपसाई