पुरातत्वविद
कितना कुछ बचाया जा सकता था,
विलुप्त हो गए नदियों, पहाड़ो या पंछियों को,
किसी का बचपन हो या एक पूरी सभ्यता को।
संजोए रखना, कितना कठिन होता है,
समस्त संसार के विरुद्ध चलते रहना,
तमाम खो रही चीजों को रख पाना भी मुश्किल है।
शायद इसलिए भी एक प्रेमी बागी कहलाता है,
जिसने संजो रखा है अपने भीतर मातृ प्रेम,
वह चाहता नहीं अपने भीतर प्रेम का खत्म होना।
मैंने बड़े बेमन से मेज़ पर रखी एक किताब खोली,
एक लेखक दुनिया का सबसे बड़ा पुरातत्वविद होता है,
उसने समस्त संसार की भाग दौड़ को संजो रखा है किताबों में।