Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Apr 2022 · 1 min read

पितृ महिमा

पितृ महिमा
~~°~~°~~°
पितृवचन सदा पालन करे जो,दीन हीन वो कभी नहीं होते..
पिता ही प्रतिपालक है जग में,पथ प्रदर्शक भी वही होते।
पुत्र श्रीराम ने किया वनगमन,पितृ वचन प्रण पूरा करने ,
पापी असुरों को संहार किया, हर मनुज मुख में हैं बसते।

पितृवचन सदा पालन करे जो,दीन हीन वो कभी नहीं होते..

पितृ वचनों को निभाने ही,यमराज सम्मुख नचिकेता गए,
आत्म ज्ञान रहस्य पाया, मृत्यु से भी वो विचलित न हुए।
शान्तनु की अतृप्त इच्छापूर्ति को,गंगापुत्र ने ली थी प्रतिज्ञा,
आजन्म अविवाहित रहकर,जगत के भीष्म पितामह बनते।

पितृवचन सदा पालन करे जो,दीन हीन वो कभी नहीं होते..

श्रवण कुमार जैसा पुत्र हो मेरा,सब तात यह इच्छा रखते,
कंधों पर भार उठाकर जो सुत,तीर्थयात्रा करा नहीं थकते।
आज्ञापालन पितृसेवा ये मधुर शब्द,देवों के भावों में बसते,
दुर्लभ है यह मानवजन्म पर, कर्मफल भी हैं यही मिलते।

पितृवचन सदा पालन करे जो,दीन हीन वो कभी नहीं होते..

मौलिक एवं स्वरचित
© ® मनोज कुमार कर्ण
कटिहार ( बिहार )
तिथि – २३ /०४ /२०२२

7 Likes · 8 Comments · 881 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from मनोज कर्ण
View all
You may also like:
धरा हमारी स्वच्छ हो, सबका हो उत्कर्ष।
धरा हमारी स्वच्छ हो, सबका हो उत्कर्ष।
surenderpal vaidya
सबको निरूत्तर कर दो
सबको निरूत्तर कर दो
Dr fauzia Naseem shad
राम और कृष्ण
राम और कृष्ण
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
तुम्हें आसमान मुबारक
तुम्हें आसमान मुबारक
Shekhar Chandra Mitra
3705.💐 *पूर्णिका* 💐
3705.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
श्री राम अमृतधुन भजन
श्री राम अमृतधुन भजन
Khaimsingh Saini
बुंदेली दोहे-फतूम (गरीबों की बनियान)
बुंदेली दोहे-फतूम (गरीबों की बनियान)
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
वफा से होकर बेवफा
वफा से होकर बेवफा
gurudeenverma198
"तेरे लिए.." ग़ज़ल
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
अटूट प्रेम
अटूट प्रेम
Shyam Sundar Subramanian
प्रेम में मिट जाता है, हर दर्द
प्रेम में मिट जाता है, हर दर्द
Dhananjay Kumar
"तेरा-मेरा"
Dr. Kishan tandon kranti
ज़िंदगी जी भर जी कर देख लिया मैंने,
ज़िंदगी जी भर जी कर देख लिया मैंने,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
शिक्षक की भूमिका
शिक्षक की भूमिका
Shashi kala vyas
परिंदे अपने बच्चों को, मगर उड़ना सिखाते हैं( हिंदी गजल)
परिंदे अपने बच्चों को, मगर उड़ना सिखाते हैं( हिंदी गजल)
Ravi Prakash
प्यार..... करना, जताना और निभाना... तीनो अलग अलग बाते है.. प
प्यार..... करना, जताना और निभाना... तीनो अलग अलग बाते है.. प
पूर्वार्थ
I'm always with you
I'm always with you
VINOD CHAUHAN
"नारियल खोपड़ी से टकराए या खोपड़ी नारियल से, फूटना खोपड़ी को ही
*प्रणय*
मीर की  ग़ज़ल हूँ  मैं, गालिब की हूँ  बयार भी ,
मीर की ग़ज़ल हूँ मैं, गालिब की हूँ बयार भी ,
Neelofar Khan
बेपरवाह
बेपरवाह
Omee Bhargava
औरों के ही रात दिन,
औरों के ही रात दिन,
sushil sarna
इस तरह कुछ लोग हमसे
इस तरह कुछ लोग हमसे
Anis Shah
💐प्रेम कौतुक-561💐
💐प्रेम कौतुक-561💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
इंसान हो या फिर पतंग
इंसान हो या फिर पतंग
शेखर सिंह
क्रोधी सदा भूत में जीता
क्रोधी सदा भूत में जीता
महेश चन्द्र त्रिपाठी
उम्मीदें  लगाना  छोड़  दो...
उम्मीदें लगाना छोड़ दो...
Aarti sirsat
पता ना था के दीवान पे दर्ज़ - जज़बातों  के नाम भी होते हैं 
पता ना था के दीवान पे दर्ज़ - जज़बातों  के नाम भी होते हैं 
Atul "Krishn"
माँ तुम याद आती है
माँ तुम याद आती है
Pratibha Pandey
माता - पिता राह में चलना सिखाते हैं
माता - पिता राह में चलना सिखाते हैं
Ajit Kumar "Karn"
विरोध-रस की काव्य-कृति ‘वक्त के तेवर’ +रमेशराज
विरोध-रस की काव्य-कृति ‘वक्त के तेवर’ +रमेशराज
कवि रमेशराज
Loading...