Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
28 May 2022 · 1 min read

पिता

“सबसे अनमोल तोफा पिता”

कभी अभिमान तो कभी स्वाभिमान है,
पिता बच्चों का भगवान और आसमान है|

कभी हंसी तो कभी अनुशासन है,
कभी मौन तो कभी भाषण है पिता|

पिता है तो संसार है, पिता से ही मां
की चुडी, बिंदी, सुहाग है|

जीवन के हर मोड़ पर नाम है पिता का,
बच्चों के हर सपनों को पूरा करना काम है पिता का|

बच्चों की हर छोटी खुशी के लिए ,
सब कुछ सह जाते वो है पिता|

पूरी करते हैं मेरी हर छोटी ईच्छा,
उनके जैसा नही कोई अच्छा|

पिता एक उम्मीद है, एक आस है,
परिवार की हिम्मत और विश्वास है|

बाहर से सख्त अंदर से नर्म है,
उनके दिल में दफन कई मर्म है|

पिता संघर्ष की आंधीयों में हौसलो की दिवार है,
परेशानीयों से लड़ने को दो धारी तलवार है |

कहने को तो सब ऊपर वाला देता है,
पिता है जो हमारे सारे दुख ले लेता है |

धन्यवाद🙏
लेखक – मीनाक्षी नागर
गाँव- अच्छेजा

32 Likes · 41 Comments · 1029 Views

You may also like these posts

शरीर
शरीर
Laxmi Narayan Gupta
यौवन का चिन्तन करती
यौवन का चिन्तन करती
प्रकाश जुयाल 'मुकेश'
*लिखी डायरी है जो मैंने, कभी नहीं छपवाना (गीत)*
*लिखी डायरी है जो मैंने, कभी नहीं छपवाना (गीत)*
Ravi Prakash
बच्चे आज कल depression तनाव anxiety के शिकार मेहनत competiti
बच्चे आज कल depression तनाव anxiety के शिकार मेहनत competiti
पूर्वार्थ
दोहे. . . . जीवन
दोहे. . . . जीवन
sushil sarna
4794.*पूर्णिका*
4794.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
सलाह के सौ शब्दों से
सलाह के सौ शब्दों से
Ranjeet kumar patre
विषय-
विषय-"जलती रही!"
Priya princess panwar
मां कूष्मांडा
मां कूष्मांडा
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
बदनाम शराब
बदनाम शराब
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
दिल की बात
दिल की बात
Poonam Sharma
मैं खोया हूँ मयखाने में...
मैं खोया हूँ मयखाने में...
रमाकान्त पटेल
कुदरत और भाग्य के रंग..... एक सच
कुदरत और भाग्य के रंग..... एक सच
Neeraj Agarwal
खरी खरी विज्ञान भरी
खरी खरी विज्ञान भरी
Anil Kumar Mishra
बेटियां
बेटियां
Krishna Manshi
छत्तीसगढ़ी हाइकु
छत्तीसगढ़ी हाइकु
Dr. Pradeep Kumar Sharma
खोकर अपनों को यह जाना।
खोकर अपनों को यह जाना।
लक्ष्मी सिंह
छन्द- सम वर्णिक छन्द
छन्द- सम वर्णिक छन्द " कीर्ति "
rekha mohan
गजल
गजल
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
दिल-शिकन वादा-शिकन
दिल-शिकन वादा-शिकन
*प्रणय*
मानव का अधिकार
मानव का अधिकार
RAMESH SHARMA
अब  छोड़  जगत   आडंबर  को।
अब छोड़ जगत आडंबर को।
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
रूस्वा -ए- ख़ल्क की खातिर हम जज़्ब किये जाते हैं ,
रूस्वा -ए- ख़ल्क की खातिर हम जज़्ब किये जाते हैं ,
Shyam Sundar Subramanian
"फसलों के राग"
Dr. Kishan tandon kranti
.
.
NiYa
बधाई का गणित / *मुसाफ़िर बैठा
बधाई का गणित / *मुसाफ़िर बैठा
Dr MusafiR BaithA
मैं निकल पड़ी हूँ
मैं निकल पड़ी हूँ
Vaishaligoel
धिक्कार
धिक्कार
Dr. Mulla Adam Ali
हम कहाँ से कहाँ आ गए हैं। पहले के समय में आयु में बड़ों का स
हम कहाँ से कहाँ आ गए हैं। पहले के समय में आयु में बड़ों का स
इशरत हिदायत ख़ान
उसका होना उजास बन के फैल जाता है
उसका होना उजास बन के फैल जाता है
Shweta Soni
Loading...