Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
18 Dec 2017 · 1 min read

*पावन हरियाली को*

पावन हरियाली को

गगन निहारे ओर धरा की पावन हरियाली को,,
पर्वत देख रहे है देखो फूलो की खुशहाली को,,

कल कल बहता पावन जल है झरना से झरता है,,
पंछी कलरव,गाते भवरे हिलाते फूल की डाली को,,

इस तरहा से साज और श्रंगार धरा करने बाला कौन है,,
कौन करे है सुंदर इन वादियों की अच्छी रखबाली को,,

प्रकति का अनुपम चित्रण दिखता है जिस धरा पर,,
सदा ही होती सौम्यता,शांति का संदेशा देनी बाली को,,

जी ललचे देखन ऐसी अनुपम पावन प्रकत थल को,,
छूये मनु भी फूलो तितली पंखों पत्तो की हरियाली को,,
मानक लाल मनु

Language: Hindi
424 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
अमृत वचन
अमृत वचन
Dinesh Kumar Gangwar
विचार
विचार
Godambari Negi
Jese Doosro ko khushi dene se khushiya milti hai
Jese Doosro ko khushi dene se khushiya milti hai
shabina. Naaz
बेटी
बेटी
Dr. Pradeep Kumar Sharma
कमाल करते हैं वो भी हमसे ये अनोखा रिश्ता जोड़ कर,
कमाल करते हैं वो भी हमसे ये अनोखा रिश्ता जोड़ कर,
Vishal babu (vishu)
कितना रोके मगर मुश्किल से निकल जाती है
कितना रोके मगर मुश्किल से निकल जाती है
सिद्धार्थ गोरखपुरी
सागर की हिलोरे
सागर की हिलोरे
SATPAL CHAUHAN
स्वार्थ से परे !!
स्वार्थ से परे !!
Seema gupta,Alwar
*संवेदना*
*संवेदना*
Dr Shweta sood
हिन्दी के हित
हिन्दी के हित
surenderpal vaidya
प्रवासी चाँद
प्रवासी चाँद
Ramswaroop Dinkar
मानो जीवन को सदा, ट्वंटी-ट्वंटी खेल (कुंडलिया)
मानो जीवन को सदा, ट्वंटी-ट्वंटी खेल (कुंडलिया)
Ravi Prakash
"सृजन"
Dr. Kishan tandon kranti
"इफ़्तिताह" ग़ज़ल
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
श्रावण सोमवार
श्रावण सोमवार
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
भक्तिकाल
भक्तिकाल
Sanjay ' शून्य'
कागज़ ए जिंदगी
कागज़ ए जिंदगी
Neeraj Agarwal
इश्क़ एक सबब था मेरी ज़िन्दगी मे,
इश्क़ एक सबब था मेरी ज़िन्दगी मे,
पूर्वार्थ
तुझे जब फुर्सत मिले तब ही याद करों
तुझे जब फुर्सत मिले तब ही याद करों
Keshav kishor Kumar
उतर चुके जब दृष्टि से,
उतर चुके जब दृष्टि से,
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
जीवन में ईनाम नहीं स्थान बड़ा है नहीं तो वैसे नोबेल , रैमेन
जीवन में ईनाम नहीं स्थान बड़ा है नहीं तो वैसे नोबेल , रैमेन
Rj Anand Prajapati
#दोहा
#दोहा
*Author प्रणय प्रभात*
2812. *पूर्णिका*
2812. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
गणतंत्र दिवस
गणतंत्र दिवस
विजय कुमार अग्रवाल
अपना सपना :
अपना सपना :
Jeewan Singh 'जीवनसवारो'
चाहत
चाहत
Bodhisatva kastooriya
कभी कभी अच्छा लिखना ही,
कभी कभी अच्छा लिखना ही,
नेताम आर सी
खोज सत्य की जारी है
खोज सत्य की जारी है
महेश चन्द्र त्रिपाठी
प्रकृति का अनुपम उपहार है जीवन
प्रकृति का अनुपम उपहार है जीवन
Er. Sanjay Shrivastava
हे भगवान तुम इन औरतों को  ना जाने किस मिट्टी का बनाया है,
हे भगवान तुम इन औरतों को ना जाने किस मिट्टी का बनाया है,
Dr. Man Mohan Krishna
Loading...