पापा ने मां बनकर।
पापा ने मां बनकर,,,
मुझको पाला है…!!
मैंने अपना सम्पूर्ण,,,
अस्तित्व उन्ही से पाया है…!!
मां मेरे बचपन में ही,,,
काल का शिकार,,,
हो गई थी…!!
मेरे पापा की सम्पूर्ण,,,
दुनियां ही मानो,,,
उजड़ गई थी…!!
तब से मेरी दुनियां,,,
पापा बन गए…!!
और यूं पापा की दुनियां,,,
बन गई मैं…!!
पापा से मुझको ममता का,,,
अनंत प्रेम भाव मिला…!!
ईश्वर ही जाने कैसे ?
ह्रदय में इतना गहरा ममता का,,,
उनमें प्रेम भाव जगा…!!
मेरा सब कुछ पापा मेरे…
पापा की सब कुछ मैं…!!
कभी कोई कमी ना होने दी…
उन्होनें मेरे जीवन में…!!
इक स्त्री के सारे गुण…
बेटी कहां पिता से पाती है…
पर मैं भाग्यवान हूं पिता ने…
प्रत्येक गुण स्त्री का…
मुझको समझाया है…!!
इतना तो शयद मेरी मां भी होती,,,
सम्पूर्ण औरत क्या होती है?
मुझको ना समझा पाती…!!
चूल्हे चौके से लेकर,,,
असमान तक उड़ने को,,,
पापा ने मुझको…
आत्म निर्भर बनाया है…!!
इस पुरुष प्रधान समाज से,,,
मुझको डटकर लड़ना सिखलाया है…!!
ताज मोहम्मद
लखनऊ