Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
21 Jan 2024 · 2 min read

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….

अभिनंदन करती अवथ नगरी, कौसलेय का,
मान रखा कौशल्या सुत राम ने, प्राण जाए पर वचन ना जाए,
माँ कैकयी की ममता की रखी लाज,
राजीवलोचन के नयनों में ना दिखे अश्रु, रखी लाज रघुकुल की रीति की……….,

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….
अभिनंदन कर रहा सरयू घाट, आज अपने लाल का,
घाट को मिल गया उसका बालवीर शूर, लहरें भी बोल उठी,
शंखनाद की गूँज और पुष्पवर्ष से सज गया सरयू घाट, जय- जयकार हो रही शाश्वत की……….

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….
अभिनंदन कर रही अवध नगरी, जनकनन्दिनी के संगी का,
छद्मवेंश साधु का धर के रावण.ले गया सीता क़ो लंका हर के,
साथ दिया जटायु, विभीषण, सुग्रीवं ,लक्ष्मण और बजरंगी ने,
मर्यादा पुस्षोत्तम ने रखी लाज अपने प्रियतम की……….

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा.
अभिनंदन कर रही अवध नगरी , शबरी का,
बेरो मे झलकता था सद्भाव आस्था और प्रेम,
नययों में थे अश्रु, पांच शतक के बाद त्रिलोकरक्षक लौट रहे अपने अवध नगरी,
कोई शबरी ना होगी निराश , द्वार प्रज्वलित होगे अहिल्या दीप से हर शबरी के,

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….
अभिनंदन कर रही अवध नगरी , मर्यादा मय राम का,
पापों का किया अंत सदैव, प्राण प्रतिष्ठा है शुरुवात त्रेता युग,
अंत होगा पाप- विलय, नफरत और द्वेष भाव का.
द्विश शक्ति से गूंज़े फिर ज़यकार श्री राम की वसुंधरा पर,
गूंज़े फिर ज़यकार सत्य सनातन धर्म क़ी……..

पधारो मेरे राम बन्ना, पधारो सा….
अभिनंदन कर रही अवध नगरी,
कण-कण में बसे राम का,
रोम-रोम मे बसे राम का,

सुनीता महेंद्रु

Language: Hindi
1 Like · 156 Views

You may also like these posts

हम साथ- साथ हैं
हम साथ- साथ हैं
Usha Gupta
सफर
सफर
Mansi Kadam
सन्यासी का सच तप
सन्यासी का सच तप
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
ज़िम्मेदार ठहराया गया है मुझको,
ज़िम्मेदार ठहराया गया है मुझको,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
सरसी छंद
सरसी छंद
seema sharma
अब क्या करोगे मेरा चेहरा पढ़कर,
अब क्या करोगे मेरा चेहरा पढ़कर,
Jyoti Roshni
पति की खुशी ,लंबी उम्र ,स्वास्थ्य के लिए,
पति की खुशी ,लंबी उम्र ,स्वास्थ्य के लिए,
ओनिका सेतिया 'अनु '
तुमने - दीपक नीलपदम्
तुमने - दीपक नीलपदम्
दीपक नील पदम् { Deepak Kumar Srivastava "Neel Padam" }
उज्जैयिनी
उज्जैयिनी
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
गीत- रचा तुमको दिया संसार...
गीत- रचा तुमको दिया संसार...
आर.एस. 'प्रीतम'
♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️
♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️
Dr Archana Gupta
चोट
चोट
आकांक्षा राय
3303.⚘ *पूर्णिका* ⚘
3303.⚘ *पूर्णिका* ⚘
Dr.Khedu Bharti
प्रकाश परब
प्रकाश परब
Acharya Rama Nand Mandal
सुधि सागर में अवतरित,
सुधि सागर में अवतरित,
sushil sarna
कविता- 2- 🌸*बदलाव*🌸
कविता- 2- 🌸*बदलाव*🌸
Mahima shukla
शिक्षक ही तो देश का भाग्य निर्माता है
शिक्षक ही तो देश का भाग्य निर्माता है
gurudeenverma198
बेरंग सी जिंदगी......
बेरंग सी जिंदगी......
SATPAL CHAUHAN
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
डॉ अरुण कुमार शास्त्री
DR ARUN KUMAR SHASTRI
फ्लेशबैक
फ्लेशबैक
meenu yadav
बदलियां
बदलियां
surenderpal vaidya
ଆତ୍ମ ଦର୍ଶନ
ଆତ୍ମ ଦର୍ଶନ
Bidyadhar Mantry
*चुनावी कुंडलिया*
*चुनावी कुंडलिया*
Ravi Prakash
अगलग्गी (मैथिली)
अगलग्गी (मैथिली)
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
ये साथ चलने के लिए निकले थे लोग कितने।
ये साथ चलने के लिए निकले थे लोग कितने।
Phool gufran
एक मौन
एक मौन
सुशील मिश्रा ' क्षितिज राज '
मुझे ऊंचाइयों पर देखकर हैरान हैं बहुत लोग,
मुझे ऊंचाइयों पर देखकर हैरान हैं बहुत लोग,
Ranjeet kumar patre
पढी -लिखी लडकी रोशन घर की
पढी -लिखी लडकी रोशन घर की
Swami Ganganiya
*नवरात्रि के इन पावन पर्व में ...*
*नवरात्रि के इन पावन पर्व में ...*
Shashi kala vyas
लुटा दी सब दौलत, पर मुस्कान बाकी है,
लुटा दी सब दौलत, पर मुस्कान बाकी है,
Rajesh Kumar Arjun
Loading...