नेह से नाता रहा मनमीत का
नेह से नाता रहा मनमीत का,
है समर्पण सार ही बस प्रीत का l
गीतकारों ने सदा से यह कहा,
दर्द से रिश्ता पुराना गीत का l
नेह से नाता रहा मनमीत का,
है समर्पण सार ही बस प्रीत का l
गीतकारों ने सदा से यह कहा,
दर्द से रिश्ता पुराना गीत का l