नेता का राज !
मेयर राजेश कुमार यादव के द्धारा 19 फरवरी 2014 को रचित कविता
हो गया नेता का राज !
धन्य हो नेता महराज।
आतंक फैला -फैला कर
खुद का नाम कमा रहे।।
खुद तो आतंक करवाता,
फिर से समाज सेवा करता।
जब वोट जीत जाता नेता,
गरीबो के ऊपर अत्याचार करवाता।।
कोई कहता फल्ला चोर,
कोई कहता चिल्ला चोर,
खुद तो करता चोरी-चोरी
फिर करता है सीना जोड़ी।।
क्यो ? आते हो जनता तुम
नेता के चपेट मे।
तुम्हारा कमाया पुरा धन
डाल लेता अपने पेट मे।।