ना चाहकर भी मुस्कराना पड़ता हैं.
आंखे भर आती हैं और
दर्द भी छिपाना पड़ता है
ये जिंदगी है “कृष्ण” यहां
ना चाहकर भी मुस्कराना पड़ता हैं..!!!
आंखे भर आती हैं और
दर्द भी छिपाना पड़ता है
ये जिंदगी है “कृष्ण” यहां
ना चाहकर भी मुस्कराना पड़ता हैं..!!!