ना खेलो खेल पाक तुम खून का/मंदीप
ना खेलो खेल पाक तुम खून का,
सब जगह तुम को खून ही खून नजर आयेगा।
बंन्द करो अब अपनी छिछोरी हरकतों को,
नही तो बाद में तू बहुत पछतायेगा।
कर दो तुम बंन्द छुप कर वार करना,
नही पाक जमी पर कुछ नजर नही आयेगा।
करते हो हम से कश्मीर लेने की बात,
सुधर जाओ एक दिन तेरा पाक तुम से ही छिन जायेगा।
ख्याल करो तुम अपनों का,
नही सब जगह खून ही खून नजर आयेगा।
क्यों हाकते को तुम बड़ी बड़ी बाते,
वो सब धरा का धरा रह जायेगा।
है गुजारिस “मंदीप” की पाक तुम से,
नही तो एक दिन पाक जमी पर हिंदुस्तान का तिरंगा नजर आयेगा।
जय हिन्द
मंदीपसाई