Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
6 Aug 2024 · 1 min read

नहीं होते यूं ही रिश्तें खत्म

नहीं होते यूं ही रिश्तें खत्म
ना ही होता उनका मर्डर,
रूह से जुड़े विश्वास भरे
अनमोल रिश्ते होते हैं अमर।
सहकर कहकर साफ सदा
इन्हें सहेजे रखना
बुरा न मानों स्नेही जन का
इन्हें सजाए रखना।
होते जितने रिश्ते मधुरम ,
मधुरम उतना दिल होता
हार नहीं होती है उनकी ,
नहीं कभी भी खत्म होता।
वैसै ही सखा भाव का रिश्ता
बिनस्वार्थ अमर बेल सा पनपता
मांगा नहीं दिया है सब कुछ देता,
बिल्कुल कृष्ण-सुदामा कि जो कथा।
मीत मित्र संग जोर से बेहतर ,
सेवा सहित सत्कार मिले ।
खुशी मिलें खुश रहें,
काम नाम जीवन फूले फले।
सब रिश्तों में निहित स्नेह
दौ और चार गुनी बढ़े नेह
सकता है वहां रह जब धैर्य
स्वर्ग भी आता है वहां रहने
पति पत्नी का रिश्ता होता ,
एक सिक्के के दो पहलू ।
इक दूजे के मन में होता,
साथी का मैं दुख सहलूं ।
कोई विपदा आन पड़े
खड़ा दिखाई देता है।
आसानी वा सहज भाव से ,
विजय प्राप्त कर लेता है।
दुखी नहीं अपनों की बातों से
सहजता से उदासी समेट लेता है
दिल ना दुःखे मेरे अपनै मीत का
ग़म पी लेता स्वयं,मुस्कान देता।
-सीमा गुप्ता अलवर राजस्थान ै🌷🌹🍃💐🍃🌹🌷🥰🥰🥰

Language: Hindi
101 Views

You may also like these posts

विरह्नि प्रियतमा
विरह्नि प्रियतमा
pradeep nagarwal24
मोहब्बत में कब तक रुलाते रहेंगे।
मोहब्बत में कब तक रुलाते रहेंगे।
Phool gufran
" दर्शन "
Dr. Kishan tandon kranti
पोलियो अभियान
पोलियो अभियान
C S Santoshi
यक्षिणी-13
यक्षिणी-13
Dr MusafiR BaithA
माता, महात्मा, परमात्मा...
माता, महात्मा, परमात्मा...
ओंकार मिश्र
रंगों का महापर्व होली
रंगों का महापर्व होली
इंजी. संजय श्रीवास्तव
सियासत हथियाने की दौड़ में
सियासत हथियाने की दौड़ में
Lekh Raj Chauhan
समय चक्र
समय चक्र
Sudhir srivastava
Of Course, India Is Not Communal
Of Course, India Is Not Communal
Santosh Khanna (world record holder)
बहुत सी बातों को यूँही छोड़ देना चाहिए बिना किसी सवाल जवाब न
बहुत सी बातों को यूँही छोड़ देना चाहिए बिना किसी सवाल जवाब न
पूर्वार्थ
#सियमात लौटाओ तो कभी
#सियमात लौटाओ तो कभी
वेदप्रकाश लाम्बा लाम्बा जी
हर दिल-अजीज ना बना करो 'साकी',
हर दिल-अजीज ना बना करो 'साकी',
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
किस क़दर बेकार है
किस क़दर बेकार है
हिमांशु Kulshrestha
From dust to diamond.
From dust to diamond.
Manisha Manjari
जिंदा हूँ अभी मैं और याद है सब कुछ मुझको
जिंदा हूँ अभी मैं और याद है सब कुछ मुझको
gurudeenverma198
3196.*पूर्णिका*
3196.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
रोटियों से भी लड़ी गयी आज़ादी की जंग
रोटियों से भी लड़ी गयी आज़ादी की जंग
कवि रमेशराज
सुनो पहाड़ की....!!! (भाग - १०)
सुनो पहाड़ की....!!! (भाग - १०)
Kanchan Khanna
पात्रता
पात्रता
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
हर कदम प्यासा रहा...,
हर कदम प्यासा रहा...,
Priya princess panwar
याद रख कर तुझे दुआओं में ,
याद रख कर तुझे दुआओं में ,
Dr fauzia Naseem shad
अभिलाषाएं नव जीवन की
अभिलाषाएं नव जीवन की
Shweta Soni
इस
इस "खोज" में ना उलझें, कि "भगवान" हैं या नहीं, "खोज" यह रखें
ललकार भारद्वाज
आपका समाज जितना ज्यादा होगा!
आपका समाज जितना ज्यादा होगा!
Suraj kushwaha
मिलती बड़े नसीब से , अपने हक की धूप ।
मिलती बड़े नसीब से , अपने हक की धूप ।
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
अंधकार जो छंट गया
अंधकार जो छंट गया
Mahender Singh
हो मुखर
हो मुखर
Santosh kumar Miri
24. O Woman !
24. O Woman !
Ahtesham Ahmad
धूल के फूल
धूल के फूल
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
Loading...