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1 Apr 2022 · 1 min read

नवरात्रि का त्योहार

इंतजार के बाद………..
‌ ‌ आता है, यह नवरात्रि का त्योहार……
‌ ‌ सच्चे मन से करके, आराधना मां की
आओ तन मन धन ,देवे‌ वार…………
असली नवरात्रा होगा….
हे ! मां ,धरकर रूप कन्या का ,
कभी मेरे घर भी, चली आना ।
हम तो हैं, दर्शन के प्यासे तेरे ,
तू अपना ,दरस दिखा जाना ।।
हर कन्या में है, रूप तेरा….,
तो क्यों, कन्या मारी जाती. ?
क्या धरती पर, बोझ बन गई है,
आज हर ,नारी जाति……….?
यह नौ दिन का, नवरात्र……..,
क्यों‌ नौ दिन की, पूजा देवी की ।
इसके बाद क्या मां, मां नहीं रहती है,
क्यों नौ दिन ही, पूजा रहती है……..।।
धूप दीप और, कर आरती ….,
तुम मां से, मन्नत मांगते हो…..।
करके कन्या का ,कत्ल कोख में ,
तुम अपने लिए, जन्नत मांगते हो ।।
नौ कन्या ढूंढते हो ,भोग लगाने को……..,
क्यों उस दिन बेटों को ,भोग नहीं लगाते हो ।
क्यों केवल नौ दिन करके ,मां की पूजा अर्चना,
अपनी संवेदना, मां के प्रति झूठी बताते हो…..।।
अरे असली नवरात्रा ,तो तब होगा………..,
जब बेटों सा, बेटी का भी महत्व होगा……..।
जब कन्या को कोई भी, बोझ नहीं समझेगा‌,
तब हर दिन उस मां का ,असली पूजन होगा ।।

दीपाली कालरा

Language: Hindi
2 Likes · 224 Views
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