दोस्त, दोस्ती और दोस्ताना
दोस्त, दोस्ती और दोस्ताना
रहते याद, चाहे बीते जमाना
नहीं देखती वर्ण, धर्म, स्तर
यह दोस्ती का नियम पुराना
राजा हो, चाहे हो कोई रंक
कृष्ण-सुदामा याराना पुराना
अच्छाई हो या विधा बुराई
कर्ण -दुर्योधन नमूना पुराना
दोस्ती यकीन पर टिकी होती
टूटे विश्वास, टुट जाए याराना
यार-मार है,दुश्मन से बढकर
धब्बा यारी पर,बिगड़े याराना
अमीरी-गरीबी में नहीं तुलता
साफ- सुथरा रिश्ता दोस्ताना
दिल की बात जहाँ निकलती
दोस्ती का रिश्ता है मस्ताना
पीठ पर घोपे खंजर जो कोई
दोस्त नहीं वो दुशमन पुराना
होता है यार जिंदगी में प्यारा
ईमान है दोस्ती और दोस्ताना
दोस्त, दोस्ती और दोस्ताना
रहते याद, चाहे बीते जमाना
-सुखविंद्र सिंह मनसीरत
खेड़ी राओ वाली(कैथल)
9896872258