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18 Feb 2024 · 1 min read

*दूसरा मौका*

किस बात का बदला ले रहे हो हमसे
जो आज फिर मुंह मोड़ रहे हो हमसे
हमने तो कभी सोचा नहीं था कि ये इश्क़ ये दिन भी दिखाएगा
इतनी बड़ी भूल कैसे हो गई ये हमसे

लगता है ये गलतफहमी थी हमारी
इश्क़ तुम्हें था ही नहीं हमसे
तुम्हारे इश्क ने पर्दा डाल दिया था हमपर
वर्ना इतनी बड़ी भूल न होती हमसे

तेरे चेहरे की मुस्कान लेकिन
कभी भुलाई न जाएगी हमसे
मेरे दिल की गली में अब, कोई
इश्क़ की लौ जलाई न जाएगी हमसे

सोचता हूं ये विरह की बेला
कैसे काटी जाएगी हमसे
कोई और हसीना भी तो
इस दिल में न बुलाई जाएगी हमसे

है इस दिल को जाने क्यों आस अब भी
तू फिर आएगी मिलने हमसे
आएगी तो जाने नहीं देंगे इस बार तुम्हें
सोच समझकर आना मिलने हमसे

जानता हूं दूसरा मौका नहीं मिलता इश्क में
जाने फिर भी क्यों आस है तुमसे
आकर चुपके से बस जाओ मेरे दिल में
वादा है मेरा, कोई शिकायत न करूंगा तुमसे।

Language: Hindi
116 Views
Books from सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
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