Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Jan 2021 · 1 min read

दर्पण को देख देखकर राधे

दर्पण को देख देखकर राधे मत किया कर श्रृंगार
तेरी सुंदरता देख मैं भूल बैठा अपने तीज त्यौहार

रोज अरमानों की महफ़िल में छलकता ये पैमाना
मेरी प्यासी निगाहों को राधे जामें-वफा तू पिलाना
आ करलें दिल से दिल का सौदा अच्छा है व्यपार
दर्पण को देख देखकर राधे मत किया कर श्रृंगार
तेरी सुंदरता देख मैं भूल बैठा अपने तीज त्यौहार

तू दिल में धड़कन बनकर रहती खुले मेरे नसीब
जब जब तेरी जुल्फें सवारूँ हुआ दिल के करीब
धनक बन के आसमाँ पे खिली दिल से मोहब्बत
मेरा दिल ही बन बैठा जाने क्यों अब मेरा रकीब
पलकें बंद करता हूँ तो नजर आती तू ही हर बार
दर्पण को देख देखकर राधे मत किया कर श्रृंगार
तेरी सुंदरता देख मैं भूल बैठा अपने तीज त्यौहार

मेरे दिल से होके ही गुजर रही है तेरी हर एक राह
आरमनों के सितारें देख देख भरते है तुझको आह
चल दुनियॉ को भव सागर से पार उतारें हम दोनों
भटकती जिंदगी को अब बस राधे राधे की है चाह
मुल्केइश्क का दर्ज़ा हम देकर दे हिन्द को उपहार
दर्पण को देख देखकर राधे मत किया कर श्रृंगार
तेरी सुंदरता देख मैं भूल बैठा अपने तीज त्यौहार

अशोक सपड़ा की कलम से दिल्ली से
जय श्री कृष्ण जय श्री राधे

Language: Hindi
1 Like · 395 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
गुमशुदा लोग
गुमशुदा लोग
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
गीतिका
गीतिका
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
*जब एक ही वस्तु कभी प्रीति प्रदान करने वाली होती है और कभी द
*जब एक ही वस्तु कभी प्रीति प्रदान करने वाली होती है और कभी द
Shashi kala vyas
■ फूट गए मुंह सारों के। किनारा कर रहे हैं नपुंसक। निंदा का स
■ फूट गए मुंह सारों के। किनारा कर रहे हैं नपुंसक। निंदा का स
*Author प्रणय प्रभात*
था मैं तेरी जुल्फों को संवारने की ख्वाबों में
था मैं तेरी जुल्फों को संवारने की ख्वाबों में
Writer_ermkumar
बदलते रिश्ते
बदलते रिश्ते
Sanjay ' शून्य'
कर दिया
कर दिया
Dr fauzia Naseem shad
नल बहे या नैना, व्यर्थ न बहने देना...
नल बहे या नैना, व्यर्थ न बहने देना...
इंदु वर्मा
मेले
मेले
Punam Pande
समय की चाल समझ मेरे भाय ?
समय की चाल समझ मेरे भाय ?
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
मुस्कुराओ तो सही
मुस्कुराओ तो सही
अभिषेक पाण्डेय 'अभि ’
हमारी मोहब्बत का अंजाम कुछ ऐसा हुआ
हमारी मोहब्बत का अंजाम कुछ ऐसा हुआ
Vishal babu (vishu)
💐प्रेम कौतुक-314💐
💐प्रेम कौतुक-314💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
मेरे पापा
मेरे पापा
Dr. Pradeep Kumar Sharma
"तापमान"
Dr. Kishan tandon kranti
लोहा ही नहीं धार भी उधार की उनकी
लोहा ही नहीं धार भी उधार की उनकी
Dr MusafiR BaithA
श्री श्रीचैतन्य महाप्रभु
श्री श्रीचैतन्य महाप्रभु
Pravesh Shinde
कविता _ रंग बरसेंगे
कविता _ रंग बरसेंगे
Manu Vashistha
माता की महिमा
माता की महिमा
SHAILESH MOHAN
वो भ्रम है वास्तविकता नहीं है
वो भ्रम है वास्तविकता नहीं है
Keshav kishor Kumar
*मारीच (कुंडलिया)*
*मारीच (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
तुम्हारे महबूब के नाजुक ह्रदय की तड़पती नसों की कसम।
तुम्हारे महबूब के नाजुक ह्रदय की तड़पती नसों की कसम।
★ IPS KAMAL THAKUR ★
मोमबत्ती जब है जलती
मोमबत्ती जब है जलती
Buddha Prakash
साकार नहीं होता है
साकार नहीं होता है
हिमांशु बडोनी (दयानिधि)
3187.*पूर्णिका*
3187.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
कुछ तो तुझ से मेरा राब्ता रहा होगा।
कुछ तो तुझ से मेरा राब्ता रहा होगा।
Ahtesham Ahmad
बात का जबाब बात है
बात का जबाब बात है
शेखर सिंह
चंद अशआर
चंद अशआर
डॉक्टर वासिफ़ काज़ी
ना दे खलल अब मेरी जिंदगी में
ना दे खलल अब मेरी जिंदगी में
श्याम सिंह बिष्ट
हमने किस्मत से आंखें लड़ाई मगर
हमने किस्मत से आंखें लड़ाई मगर
VINOD CHAUHAN
Loading...