तेरी यादो के दीये हम,हर दिन जलाते रहे —आर के रस्तोगी
तेरी यादो के दीये हम,हर दिन जलाते रहे |
इस तरह दिवाली हम हर दिन मनाते रहे ||
रूठ न जाओ तुम मेरी किसी बात पर कभी |
तुझको इस तरह हम हर दिन मनाते रहे ||
सोच कर मिलेगा पूजा का फल एक दिन तो |
भले ही तुम सताते रहे,पर हम तुम्हे मनाते रहे ||
रहा जब तक तेल बाति दिल के दीये में |
अपने दिल को तुम्हारे दिल से लगाते रहे ||
मिलेगी रौशनी तुम्हारे दिल के दीये से मुझको |
तुम दीये को बुझाते रहे हम दीये को जलाते रहे ||
आर के रस्तोगी
गुरुग्राम (हरियाणा)