तू ही हमसफर, तू ही रास्ता, तू ही मेरी मंजिल है,
तू ही हमसफर, तू ही रास्ता, तू ही मेरी मंजिल है,
तू ही मेरी आँखें काली, तू ही जीवन में शामिल है।
तू लाख नाराजगी करले मुझसे, पर छोड़ नहीं देना,
तू ही अब सांसे मेरी, तुझ बिना जीना मुश्किल है।।
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✍️राजेश कुमार अर्जुन