“तू ना होता तो”
तू ना होता तो मैं भी वीरान सी होती,
तू ना होता तो ये महफिल भी अंजान सी होती,
तू ना होतातो मेरे ख्वाबो की कोई पहचान ना होती,
तेरे बिना ये सावन लगता था सूना- सूना,
सोचती थी क्या होगा ,कैसा होगा?
तेरे आने से जिन्दगी बन गई हैं खुशनुमा,
तुझ को पाकर जन्नत का एहसास- सा लगता,
तू ना होता तो सब कुछ बेकार -सा लगता,
अब तो चाहत है मेरी,तेरी पनाहौ मै सास निकल जाये,
अगर ऐसा हो जाए तो मुझे सुकून मिल जाए,
आखिरी दम तक तुझे चाहती रहूंगी इस कदर,
दुनिया हमारी प्रेम कहानी को नाम देगी ‘गदर ‘।
तू ना होता तो,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,