Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
8 Oct 2021 · 1 min read

तन हरा मन नारंगी कर दो

कभी पठार सा कठोर
कभी दूब सा नरम
कभी बादल सा बरसता
कभी भूमि सा स्थिर
गतिमान है
चलायमान है
यह मन बहुत
रहस्यमयी भी
कहां से पाऊं
अपने भीतर
थोड़ी सी स्थिरता
थोड़ी देर के लिए ही चलो सही
प्रकृति मुझे अपना शिष्य स्वीकारो
ना
थोड़ा सा ज्ञान भर दो
मेरे मन के किसी कोने में
कहीं
तुम्हारी आंख से मैं भी
देख पाऊं
समझ पाऊं
आत्मा के सौन्दर्य को
इस सृष्टि की रचनात्मकता को
तुम्हारी गोद में पल रहे
हर कण की विशालता को
थोड़ा सा मेरे तन को भी
हरा कर दो
मन को नारंगी
हृदय को पवित्र
मेरे चरित्र को संतुलित
जानती हो तुम वैसे तो
भलीभांति कि
देखा जाये हूं तो मैं
अभी भी एक अबोध
विचलित सा बालक ही
मन के भीतर से कहीं।

मीनल
सुपुत्री श्री प्रमोद कुमार
इंडियन डाईकास्टिंग इंडस्ट्रीज
सासनी गेट, आगरा रोड
अलीगढ़ (उ.प्र.) – 202001

Language: Hindi
1 Like · 476 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Minal Aggarwal
View all
You may also like:
अच्छा कार्य करने वाला
अच्छा कार्य करने वाला
नेताम आर सी
*पहले वाले  मन में हैँ ख़्यालात नहीं*
*पहले वाले मन में हैँ ख़्यालात नहीं*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
*पानी व्यर्थ न गंवाओ*
*पानी व्यर्थ न गंवाओ*
Dushyant Kumar
kab miloge piya - Desert Fellow Rakesh Yadav ( कब मिलोगे पिया )
kab miloge piya - Desert Fellow Rakesh Yadav ( कब मिलोगे पिया )
Desert fellow Rakesh
चट्टानी अडान के आगे शत्रु भी झुक जाते हैं, हौसला बुलंद हो तो
चट्टानी अडान के आगे शत्रु भी झुक जाते हैं, हौसला बुलंद हो तो
Dinesh Yadav (दिनेश यादव)
2781. *पूर्णिका*
2781. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
बरसातें सबसे बुरीं (कुंडलिया )
बरसातें सबसे बुरीं (कुंडलिया )
Ravi Prakash
अंधकार जो छंट गया
अंधकार जो छंट गया
Mahender Singh
"अजीज"
Dr. Kishan tandon kranti
चंद फूलों की खुशबू से कुछ नहीं होता
चंद फूलों की खुशबू से कुछ नहीं होता
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
*क्या हुआ आसमान नहीं है*
*क्या हुआ आसमान नहीं है*
Naushaba Suriya
ईश्वर की कृपा दृष्टि व बड़े बुजुर्ग के आशीर्वाद स्वजनों की द
ईश्वर की कृपा दृष्टि व बड़े बुजुर्ग के आशीर्वाद स्वजनों की द
Shashi kala vyas
😊बदलाव😊
😊बदलाव😊
*Author प्रणय प्रभात*
ईश्वर के रहते भी / MUSAFIR BAITHA
ईश्वर के रहते भी / MUSAFIR BAITHA
Dr MusafiR BaithA
पर्यावरण
पर्यावरण
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
"एक विचार को प्रचार-प्रसार की उतनी ही आवश्यकता होती है
शेखर सिंह
जरूरी बहुत
जरूरी बहुत
surenderpal vaidya
दूर जाकर क्यों बना लीं दूरियां।
दूर जाकर क्यों बना लीं दूरियां।
सत्य कुमार प्रेमी
वाणी का माधुर्य और मर्यादा
वाणी का माधुर्य और मर्यादा
Paras Nath Jha
मेरे सजदे
मेरे सजदे
Dr fauzia Naseem shad
माँ
माँ
The_dk_poetry
कांतिमय यौवन की छाया
कांतिमय यौवन की छाया
Mrs PUSHPA SHARMA {पुष्पा शर्मा अपराजिता}
वक्त से वकालत तक
वक्त से वकालत तक
Vishal babu (vishu)
*मौन की चुभन*
*मौन की चुभन*
Krishna Manshi
ek abodh balak
ek abodh balak
DR ARUN KUMAR SHASTRI
महायोद्धा टंट्या भील के पदचिन्हों पर चलकर महेंद्र सिंह कन्नौज बने मुफलिसी आवाम की आवाज: राकेश देवडे़ बिरसावादी
महायोद्धा टंट्या भील के पदचिन्हों पर चलकर महेंद्र सिंह कन्नौज बने मुफलिसी आवाम की आवाज: राकेश देवडे़ बिरसावादी
ऐ./सी.राकेश देवडे़ बिरसावादी
टन टन बजेगी घंटी
टन टन बजेगी घंटी
SHAMA PARVEEN
मुक्तक
मुक्तक
प्रीतम श्रावस्तवी
*अज्ञानी की कलम*
*अज्ञानी की कलम*
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
तू है तो फिर क्या कमी है
तू है तो फिर क्या कमी है
Surinder blackpen
Loading...