Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
29 Mar 2018 · 1 min read

तन्हाई

होती हो अब जब तुम तन्हा तो क्या हमारी याद आती है अब जो तुम हंसती हो तो क्या वह सारी कलियां खिलखिलाती हैं
क्या तेरी रेशमी जुल्फों के उलझनें पर अब भी काली घटा छा जाती है
गुलाब मेरा जो किताबों में दबाई रखती थी क्या उसमें अभी खुशबू आती है
गीत जो मैंने मोहब्बत में लिखे थे तेरे लिए क्या तू अब भी गुनगुनाती है,
हर पल बिछड़ने के बाद याद करते हैं तुझको,
क्या तुमको मेरी याद आ जाती है
संदीप आनंद
बावलवाड़ा उदयपुर
राजस्थान

Language: Hindi
263 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
सृजन
सृजन
Rekha Drolia
कैदी
कैदी
Tarkeshwari 'sudhi'
प्रतीकात्मक संदेश
प्रतीकात्मक संदेश
Shyam Sundar Subramanian
जीवन का कोई सार न हो
जीवन का कोई सार न हो
Shweta Soni
Labour day
Labour day
अंजनीत निज्जर
देखते देखते मंज़र बदल गया
देखते देखते मंज़र बदल गया
Atul "Krishn"
इक ज़िंदगी मैंने गुजारी है
इक ज़िंदगी मैंने गुजारी है
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
राजनीति
राजनीति
Bodhisatva kastooriya
సంస్థ అంటే సేవ
సంస్థ అంటే సేవ
डॉ गुंडाल विजय कुमार 'विजय'
Empty love
Empty love
Otteri Selvakumar
There are few moments,
There are few moments,
Sakshi Tripathi
4628.*पूर्णिका*
4628.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
सत्यमेव जयते
सत्यमेव जयते
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
*चुप रहने की आदत है*
*चुप रहने की आदत है*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
बुंदेली दोहे- खांगे (विकलांग)
बुंदेली दोहे- खांगे (विकलांग)
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
ज़िन्दगी से नहीं कोई शिकवा
ज़िन्दगी से नहीं कोई शिकवा
Dr fauzia Naseem shad
"दाग-धब्बे"
Dr. Kishan tandon kranti
ऐ फूलों पर चलने वालो, काॅंटों पर भी चलना सीखो ,
ऐ फूलों पर चलने वालो, काॅंटों पर भी चलना सीखो ,
Anamika Tiwari 'annpurna '
# TRUE THING
# TRUE THING
DrLakshman Jha Parimal
*मॉं से बढ़कर शुभचिंतक इस, दुनिया में कोई मिला नहीं (राधेश्य
*मॉं से बढ़कर शुभचिंतक इस, दुनिया में कोई मिला नहीं (राधेश्य
Ravi Prakash
मोहब्बत
मोहब्बत
अखिलेश 'अखिल'
भय
भय
Sidhant Sharma
अश'आर हैं तेरे।
अश'आर हैं तेरे।
Neelam Sharma
कहमुकरी
कहमुकरी
डॉ.सीमा अग्रवाल
करगिल दिवस
करगिल दिवस
Neeraj Agarwal
महानगर के पेड़ों की व्यथा
महानगर के पेड़ों की व्यथा
Anil Kumar Mishra
ग़म का लम्हा, तन्हा गुज़ारा किजिए
ग़म का लम्हा, तन्हा गुज़ारा किजिए "ओश"
ओसमणी साहू 'ओश'
तुम्हारे पथ के कांटे मैं पलकों से उठा लूंगा,
तुम्हारे पथ के कांटे मैं पलकों से उठा लूंगा,
इंजी. संजय श्रीवास्तव
मजदूर
मजदूर
Namita Gupta
प्यार का तेरा सौदा हुआ।
प्यार का तेरा सौदा हुआ।
पूर्वार्थ
Loading...