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20 Feb 2024 · 1 min read

ढल गया सूरज बिना प्रस्तावना।

जनम लेकर,खेल सह सद्भावना।
युवावस्था प्यार की संभावना।
बुढापे में ज्ञान आया,तन झुका।
ढ़ल गया सूरज बिना प्रस्तावना।

पं बृजेश कुमार नायक

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