जिस पय की हमें जरुर हो
जिस पय की हमें जरुर हो वो पय हमारे सिरहाने होता
यार कुछ और न होता बस एक मयखाना बीच दीवानखाने होता … ?
उसका लम्स मचलता यादों की पेशानी पर
और वो बैठा मेरे सिरहाने होता … ?
यार कुछ और होता न होता
उस का आना जाना मेरे जनानखाने तक होता
~ सिद्धार्थ