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31 Jan 2021 · 1 min read

जिन्दगी में आखिरकार

जिन्दगी में
आखिरकार वह मोड़
आ ही जाता है जब
जो अपने दिल के सबसे
करीब होता है
उसका साथ छूट जाता है
वह हाथ छुड़ाकर
हमेशा के लिए
न मालूम
किस रस्ते पे
हमें पीछे छोड़ता हुआ
कहीं बहुत आगे निकल
जाता है
कितना भी तेज उसके पीछे भागो पर
वह कभी हाथ नहीं आता है
उसकी खोज तो बस
खुद के दिल की मंजिल होती है
वह इंसान से फरिश्ता बन जाता है
तभी तो दिल की गहराइयों में ही
कहीं बसता है
इसके सिवाय कहीं और
नजर ही नहीं आता है।

मीनल
सुपुत्री श्री प्रमोद कुमार
इंडियन डाईकास्टिंग इंडस्ट्रीज
सासनी गेट, आगरा रोड
अलीगढ़ (उ.प्र.) – 202001

Language: Hindi
257 Views
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