जिंदगी…!
नहीं कहूंगी आसान है जिंदगी
सब्र कर मगर एक इम्तेहान है जिंदगी,
कहानी तू ने लिखनी है अपनी
ये तो केवल भारी पन्नो की
एक खाली किताब है जिंदगी,
सब तो तेरी कहानी के चुनिंदा किरदार है
नए नए अध्याय को लिखते वक़्त,
पुराने पन्नो पर ये कही छूट जायेंगे,
जीवन के नए अध्याय को लिखते वक़्त
कुछ नए किरदार आएंगे,
कलम तेरे हाथों में होगी
हाथ मगर कभी कभी कपकपाआएंगे,
स्याही मगर जब तक खत्म न हो जाए,
अंत तक जीवन के उन आखिरी पन्नो को,
बेहद खूबसूरती से लिख कर जायेगे…!
~ गरिमा प्रसाद 🥀