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23 Apr 2017 · 1 min read

जब योगी गाय चरायेँगे

बेशक अच्छे दिन आएँगे
जब योगी गाय चराएँगे

ये पंक्षी जो चुप बैठे हैँ
बादल से मिलने जाएँगे

पापा जब माँ को डाटेँगे
हम चीखेँगे चिल्लाएँगे

सच्चे -झूठे ख्वाबोँ से अब
सब अपना दिल बहलाएँगे
-सागर यादव जख्मी

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