चंद दिनों का मेहमाँ।
मुझ पे यूँ ऐसे ही हंसना बताता है तेरा होना ही अमीरी का !!
पर यूँ मजाक ना उड़ाते है किसी गरीब की भी गरीबी का !!!
चंद दिनों का मेहमाँ है वह यूँ तो इस दुनियाँ में ज़िन्दगी का !!
मिलकर उससे यूँ अहसास करा दो अपनों की करीबी का !!!
✍✍ताज मोहम्मद✍✍