“गुजरा ज़माना”
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कल को आज याद करके फायदा क्या है?
गुजरे जमाने को याद करके फायदा क्या है?
अब न रहे वो संगी साथी ना दिया ना बाती
किताब के पन्ने पलटने से फायदा क्या है?
बिताई जवानी मदहोशी में सनम की बाहों में
आसुओं से पलकें भिगोने में फायदा क्या है?
दिल है ,सनम है ,गुल है ,चमन है, अब नही तेरे
अब आस का परिंदा उड़ाने से फायदा क्या है?
©ठाकुर प्रताप सिंह”राणाजी”
सनावद (मध्यप्रदेश)