गिला कैसा
सभी को यार मन माफिक नहीं मिलते,
अगर धोखा दे जाए तो गिला कैसा !
तुझे समझा खुदा मैंने, खता मेरी,
मेरी किस्मत मुझे साथी मिला कैसा !!
!
डी के निवातिया
सभी को यार मन माफिक नहीं मिलते,
अगर धोखा दे जाए तो गिला कैसा !
तुझे समझा खुदा मैंने, खता मेरी,
मेरी किस्मत मुझे साथी मिला कैसा !!
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डी के निवातिया