Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
13 Jun 2018 · 1 min read

ग़ज़ल

काफ़िया-आ
रदीफ़-कौन है
वज़्न- 2122 2122 2122 212
ग़ज़ल

राग छेड़ी सुरमयी मुझको रिझाता कौन है।
गीत अधरों पे सजा मुझको बुलाता कौन है।

मैं पवन का मस्त झोंखा बादलों को चूमता
वादियों में फूल से खुशबू चुराता कौन है।

मुस्कुरा बचपन सलौना खेलता मैं आँगना
चाँद पानी में दिखा मुझको हँसाता कौन है।

सागरों के तट बनाता नित घरौंदा प्यार का
ओस हाथों में लिए मुझको भिगोता कौन है।

शोखियाँ, मदहोशियाँ ज़ालिम अदाएँ छल गईं
दर्दे दिल साथी बना रिश्ता निभाता कौन है।

अश्क आँखों से छलकते खार सागर हो गए
हुस्न क़ातिल बन गया मुझको सताता कौन है।

ताकयामत भूल से न भूल पाएँगे तुझे
ज़ख्म शूलों से चुभा मुझको रुलाता कौन है।

थक गयी हैं धड़कनें साँसें भी’ मद्धिम चल रहीं
बेवफ़ाई कर यहाँ हमराज़ बनता कौन है।

हो सके ‘रजनी’ खुशी से अश्क पीना सीख ले
हौसला रख दे दुआ कब्रों में’ सोता कौन है।

डॉ. रजनी अग्रवाल ‘वाग्देवी रत्ना’
महमूरगंज, वाराणसी।(उ. प्र.)
संपादिका-साहित्य धरोहर

264 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from डॉ. रजनी अग्रवाल 'वाग्देवी रत्ना'
View all
You may also like:
कमियाबी क्या है
कमियाबी क्या है
पूर्वार्थ
आया तेरे दर पर बेटा माँ
आया तेरे दर पर बेटा माँ
Basant Bhagawan Roy
थकावट दूर करने की सबसे बड़ी दवा चेहरे पर खिली मुस्कुराहट है।
थकावट दूर करने की सबसे बड़ी दवा चेहरे पर खिली मुस्कुराहट है।
Rj Anand Prajapati
आप जरा सा समझिए साहब
आप जरा सा समझिए साहब
शेखर सिंह
अमृत वचन
अमृत वचन
Dinesh Kumar Gangwar
गुनगुनाने यहां लगा, फिर से एक फकीर।
गुनगुनाने यहां लगा, फिर से एक फकीर।
Suryakant Dwivedi
पाँव में खनकी चाँदी हो जैसे - संदीप ठाकुर
पाँव में खनकी चाँदी हो जैसे - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
*
*"राम नाम रूपी नवरत्न माला स्तुति"
Shashi kala vyas
मन में संदिग्ध हो
मन में संदिग्ध हो
Rituraj shivem verma
तुम्हारे दीदार की तमन्ना
तुम्हारे दीदार की तमन्ना
Anis Shah
ବାଉଁଶ ଜଙ୍ଗଲରେ
ବାଉଁଶ ଜଙ୍ଗଲରେ
Otteri Selvakumar
कभी सोचता हूँ मैं
कभी सोचता हूँ मैं
gurudeenverma198
तलवारें निकली है तो फिर चल जाने दो।
तलवारें निकली है तो फिर चल जाने दो।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
गांधीजी का भारत
गांधीजी का भारत
विजय कुमार अग्रवाल
कौन‌ है, राह गलत उनको चलाता क्यों है।
कौन‌ है, राह गलत उनको चलाता क्यों है।
सत्य कुमार प्रेमी
काँटा ...
काँटा ...
sushil sarna
3237.*पूर्णिका*
3237.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
వచ్చింది వచ్చింది దసరా పండుగ వచ్చింది..
వచ్చింది వచ్చింది దసరా పండుగ వచ్చింది..
डॉ गुंडाल विजय कुमार 'विजय'
Dr Arun Kumar shastri
Dr Arun Kumar shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
*भारत माता के लिए , अनगिन हुए शहीद* (कुंडलिया)
*भारत माता के लिए , अनगिन हुए शहीद* (कुंडलिया)
Ravi Prakash
(आखिर कौन हूं मैं )
(आखिर कौन हूं मैं )
Sonia Yadav
मुहब्बत में शायरी का होना तो लाज़मी है जनाब,
मुहब्बत में शायरी का होना तो लाज़मी है जनाब,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
दरिया का किनारा हूं,
दरिया का किनारा हूं,
Sanjay ' शून्य'
सुन्दरता और आईना
सुन्दरता और आईना
Dr. Kishan tandon kranti
बख्श मुझको रहमत वो अंदाज मिल जाए
बख्श मुझको रहमत वो अंदाज मिल जाए
VINOD CHAUHAN
प्रेम मे डुबी दो रुहएं
प्रेम मे डुबी दो रुहएं
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
हे दामन में दाग जिनके
हे दामन में दाग जिनके
Swami Ganganiya
"" *रिश्ते* ""
सुनीलानंद महंत
20, 🌻बसन्त पंचमी🌻
20, 🌻बसन्त पंचमी🌻
Dr .Shweta sood 'Madhu'
आस्मां से ज़मीं तक मुहब्बत रहे
आस्मां से ज़मीं तक मुहब्बत रहे
Monika Arora
Loading...