Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
14 Mar 2021 · 1 min read

गर्दिश में भी जो सपने ढूंढें

१.

गर्दिश में भी जो सपने ढूंढें
वही सपने साकार करता है

बीच भंवर जो नाव निकाले
वाही मंजिल पार करता है

२.

सम्मोहन में जीने वाला
क्या सपने साकार करता है
सपने वाही साकार करता है
जो सपनों को जीता है

Language: Hindi
1 Like · 207 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
View all
You may also like:
*जीवित हैं तो लाभ यही है, प्रभु के गुण हम गाऍंगे (हिंदी गजल)
*जीवित हैं तो लाभ यही है, प्रभु के गुण हम गाऍंगे (हिंदी गजल)
Ravi Prakash
अनपढ़ को अंधेरे से उजाले की तरफ,, ले जाने वाले हमारे प्यारे श
अनपढ़ को अंधेरे से उजाले की तरफ,, ले जाने वाले हमारे प्यारे श
Ranjeet kumar patre
कुछ लोग ऐसे हैं दुनिया में
कुछ लोग ऐसे हैं दुनिया में
Ajit Kumar "Karn"
मैं अपने बिस्तर पर
मैं अपने बिस्तर पर
Shweta Soni
"एक नज़र"
Dr. Kishan tandon kranti
हर इंसान को भीतर से थोड़ा सा किसान होना चाहिए
हर इंसान को भीतर से थोड़ा सा किसान होना चाहिए
ruby kumari
" लो आ गया फिर से बसंत "
Chunnu Lal Gupta
विश्वेश्वर महादेव
विश्वेश्वर महादेव
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
बात
बात
Ajay Mishra
हे गणपति
हे गणपति
इंजी. संजय श्रीवास्तव
रिश्तों में...
रिश्तों में...
Shubham Pandey (S P)
"गुमनाम जिन्दगी ”
Pushpraj Anant
छोड़ जाते नही पास आते अगर
छोड़ जाते नही पास आते अगर
कृष्णकांत गुर्जर
देखकर प्यार से मुस्कुराते रहो।
देखकर प्यार से मुस्कुराते रहो।
surenderpal vaidya
वह मुझे दोस्त कहता, और मेरी हर बेबसी पर हँसता रहा ।
वह मुझे दोस्त कहता, और मेरी हर बेबसी पर हँसता रहा ।
TAMANNA BILASPURI
हमारी नई दुनिया
हमारी नई दुनिया
Bindesh kumar jha
इस उजले तन को कितने घिस रगड़ के धोते हैं लोग ।
इस उजले तन को कितने घिस रगड़ के धोते हैं लोग ।
Lakhan Yadav
वो अपने बंधन खुद तय करता है
वो अपने बंधन खुद तय करता है
©️ दामिनी नारायण सिंह
2933.*पूर्णिका*
2933.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
क्या यही है हिन्दी-ग़ज़ल? *रमेशराज
क्या यही है हिन्दी-ग़ज़ल? *रमेशराज
कवि रमेशराज
🇮🇳 स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं 🇮🇳
🇮🇳 स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं 🇮🇳
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
Red Hot Line
Red Hot Line
Poonam Matia
आजकल कुछ सुधार है प्यारे...?
आजकल कुछ सुधार है प्यारे...?
पंकज परिंदा
समय ही तो हमारी जिंदगी हैं
समय ही तो हमारी जिंदगी हैं
Neeraj Agarwal
Republic Day
Republic Day
Tushar Jagawat
कृषक
कृषक
Shaily
भारत के बीर सपूत
भारत के बीर सपूत
Dinesh Kumar Gangwar
या खुदा तू ही बता, कुछ शख़्स क्यों पैदा किये।
या खुदा तू ही बता, कुछ शख़्स क्यों पैदा किये।
सत्य कुमार प्रेमी
हवा तो थी इधर नहीं आई,
हवा तो थी इधर नहीं आई,
Manoj Mahato
#आज_का_क़ता (मुक्तक)
#आज_का_क़ता (मुक्तक)
*प्रणय प्रभात*
Loading...