Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
7 May 2019 · 1 min read

खेल जिन्दगी का

दिनांक 7/5/19

विधा – हाइकु

उम्र है भ्रम
घटती है ये उम्र
छोटा जीवन

जन्म खुशियाँ
मौत एक सच्चाई
आयु तमाशा

जितनी उम्र
उतनी है कहानी
कब्र सुहानी

उम्र पड़ाव
रूके जब जिन्दगी
सब है खत्म

मौत है जेल
जिन्दगी एक रेल
उम्र का खेल

स्वलिखित
लेखक संतोष श्रीवास्तव भोपाल

Language: Hindi
293 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
3501.🌷 *पूर्णिका* 🌷
3501.🌷 *पूर्णिका* 🌷
Dr.Khedu Bharti
आलता-महावर
आलता-महावर
Pakhi Jain
पुस्तक समीक्षा- धूप के कतरे (ग़ज़ल संग्रह डॉ घनश्याम परिश्रमी नेपाल)
पुस्तक समीक्षा- धूप के कतरे (ग़ज़ल संग्रह डॉ घनश्याम परिश्रमी नेपाल)
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
खुद के साथ ....खुशी से रहना......
खुद के साथ ....खुशी से रहना......
Dheerja Sharma
ये मेरा स्वयं का विवेक है
ये मेरा स्वयं का विवेक है
शेखर सिंह
"तरबूज"
Dr. Kishan tandon kranti
सत्य की खोज
सत्य की खोज
Prakash Chandra
ग़ज़ल _ रूठते हो तुम दिखाने के लिये !
ग़ज़ल _ रूठते हो तुम दिखाने के लिये !
Neelofar Khan
*आजादी हमसे छीनी यदि, तो यम से भी टकराऍंगे (राधेश्यामी छंद )
*आजादी हमसे छीनी यदि, तो यम से भी टकराऍंगे (राधेश्यामी छंद )
Ravi Prakash
पिता
पिता
Swami Ganganiya
हिन्दी में ग़ज़ल की औसत शक़्ल? +रमेशराज
हिन्दी में ग़ज़ल की औसत शक़्ल? +रमेशराज
कवि रमेशराज
" रहस्मयी आत्मा "
Dr Meenu Poonia
दिल के किसी कोने में अधुरी ख्वाइशों का जमघट हैं ।
दिल के किसी कोने में अधुरी ख्वाइशों का जमघट हैं ।
Ashwini sharma
नमस्कार मित्रो !
नमस्कार मित्रो !
Mahesh Jain 'Jyoti'
वाणी से उबल रहा पाणि
वाणी से उबल रहा पाणि
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
😢😢
😢😢
*प्रणय*
सुप्त तरुण निज मातृभूमि को हीन बनाकर के विभेद दें।
सुप्त तरुण निज मातृभूमि को हीन बनाकर के विभेद दें।
Pt. Brajesh Kumar Nayak
बदरा को अब दोष ना देना, बड़ी देर से बारिश छाई है।
बदरा को अब दोष ना देना, बड़ी देर से बारिश छाई है।
Manisha Manjari
विनम्र भाव सभी के लिए मन में सदैव हो,पर घनिष्ठता सीमित व्यक्
विनम्र भाव सभी के लिए मन में सदैव हो,पर घनिष्ठता सीमित व्यक्
Paras Nath Jha
जय हो माई।
जय हो माई।
Rj Anand Prajapati
मैं
मैं
Vivek saswat Shukla
यूज एण्ड थ्रो युवा पीढ़ी
यूज एण्ड थ्रो युवा पीढ़ी
Ashwani Kumar Jaiswal
आँलम्पिक खेल...... भारतीय टीम
आँलम्पिक खेल...... भारतीय टीम
Neeraj Agarwal
काश! मेरे पंख होते
काश! मेरे पंख होते
Adha Deshwal
नियम पुराना
नियम पुराना
हिमांशु बडोनी (दयानिधि)
दीया इल्म का कोई भी तूफा बुझा नहीं सकता।
दीया इल्म का कोई भी तूफा बुझा नहीं सकता।
Phool gufran
अन्तर्मन
अन्तर्मन
Dr. Upasana Pandey
साधना  तू  कामना तू।
साधना तू कामना तू।
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
*अति*
*अति*
पूर्वार्थ
Loading...