क्यो ले वो अवतार हिन्दू
इस चाय पर चर्चाओं की चर्चा यही जनाब कि
हम साले मक्कार पैदावार हुए है क्या हिन्दू,?
क्यों ना झुकेगी फ़िर तुम्हारी ये सरकार हिन्दू?
जय चन्द अम्बी को कैसे भूल गए है हम यारोँ
वीरता के बीज में पैदा हुई ये खरपतवार हिन्दू
वीर राणा,छत्तपति शिवाज, गुरु गोबिंद खोए
पृथ्वी खोने पे रोई पृथ्वी क्यों न शर्मसार हिन्दू
मुख़बरी करके मरवाया है चन्द्रशेखर आजाद
आज़ादी में खोकर नवरत्न हुए है बेकार हिन्दू
कब तक मातृभूमि की रक्षा मे पद्मनी जौहर करें
क्यों न गिरेगी लक्ष्मी की बनी थी जो दीवार हिन्दू
एक एक न एक दिन डूब जाएगी सनातम कश्ती
साबुन की पैबंद ओर ले चले समंदर पतवार हिन्दू
नागरिक बिल पे देख अशोक शहीन बाग में विरोध
गद्दारो को खाना खिला रहे बने थे जो सरदार हिन्दू
अब कोई राम कृष्ण नही आएगा इस धरा पे सुनलो
नहीं खुलती आँखें तुम्हारी क्यो ले वो अवतार हिन्दू
अशोक सपड़ा हमदर्द