Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 Oct 2022 · 1 min read

क्यों हो गए हम बड़े

अब कोई साथ देता नहीं
जबतक मैं पूछता नहीं किसी को
सब करते हैं नज़रंदाज़ मुझे
जबतक मैं पुकारता नहीं किसी को

हंसने से पहले इधर उधर देखता हूं
कोई है तो नहीं, हंसूगा तो क्या कहेगा वो
डरता हूं फैलाकर कहीं कोई अफवाह
कहीं मेरी बेइज्जती तो नहीं करवाएगा वो

लौटकर आता हूं जब काम से
कोई शाम को चाय के लिए नहीं पूछता
थक जाता हूं मैं पहले से ज़्यादा
लेकिन अब कोई आराम करने को नहीं पूछता

दोस्त भी अब रोज़ कहां मिलते हैं
दबे पड़े है वो भी जिम्मेदारियों के बोझ तले
निभा रहें है वो अपनी जिम्मेदारियां
कोशिश में लगे हैं बच्चे उनके अच्छे से पले

सपने देखने भी अब छूट गए है
जाने क्यों अपने ही रूठ गए है
बस कह नहीं पाते हम किसी से
अब हम भी धीरे धीरे टूट गए है

सोचता हूं क्यों हो गए हम बड़े
क्यों सीख गए हम ये दुनिया दारी
कहते हैं वही जो सुनना चाहता है कोई
जाने सच की कब आएगी अब बारी

नहीं रहा अब वो भोलापन,
वो मासूमियत भी बची नहीं हम में
खुशी के मौके भी खुशी नहीं देते
जाने खोए है हम किस गम में।

Language: Hindi
8 Likes · 1 Comment · 1044 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
View all
You may also like:
9. *रोज कुछ सीख रही हूँ*
9. *रोज कुछ सीख रही हूँ*
Dr .Shweta sood 'Madhu'
देखिए
देखिए "औरत चाहना" और "औरत को चाहना"
शेखर सिंह
कहने को खामोश थी,
कहने को खामोश थी,
sushil sarna
Them: Binge social media
Them: Binge social media
पूर्वार्थ
# खरी  बात
# खरी बात
DrLakshman Jha Parimal
खुद के अरमान ,
खुद के अरमान ,
Buddha Prakash
तुम गए कहाँ हो 
तुम गए कहाँ हो 
Amrita Shukla
गोरे तन पर गर्व न करियो (भजन)
गोरे तन पर गर्व न करियो (भजन)
Khaimsingh Saini
பூக்களின்
பூக்களின்
Otteri Selvakumar
शेरनी का डर
शेरनी का डर
Kumud Srivastava
"तुम भी काश चले आते"
Dr. Kishan tandon kranti
कभी आप अपने ही समाज से ऊपर उठकर देखिए।
कभी आप अपने ही समाज से ऊपर उठकर देखिए।
Rj Anand Prajapati
हार जाती मैं
हार जाती मैं
Yogi B
करके याद तुझे बना रहा  हूँ  अपने मिजाज  को.....
करके याद तुझे बना रहा हूँ अपने मिजाज को.....
Rakesh Singh
बहना तू सबला हो🙏
बहना तू सबला हो🙏
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
समय
समय
Annu Gurjar
इंसानियत
इंसानियत
अशोक कुमार ढोरिया
बीतते वक्त के संग-संग,दूर होते रिश्तों की कहानी,
बीतते वक्त के संग-संग,दूर होते रिश्तों की कहानी,
Rituraj shivem verma
राम राम
राम राम
Sonit Parjapati
बेजुबान और कसाई
बेजुबान और कसाई
मनोज कर्ण
*थोड़ा-थोड़ा दाग लगा है, सब की चुनरी में (हिंदी गजल)
*थोड़ा-थोड़ा दाग लगा है, सब की चुनरी में (हिंदी गजल)
Ravi Prakash
तेज़ाब का असर
तेज़ाब का असर
Atul "Krishn"
**मन मोही मेरा मोहिनी मूरत का**
**मन मोही मेरा मोहिनी मूरत का**
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
ज़माने की बुराई से खुद को बचाना बेहतर
ज़माने की बुराई से खुद को बचाना बेहतर
नूरफातिमा खातून नूरी
भक्ति गीत
भक्ति गीत
Arghyadeep Chakraborty
"" *रिश्ते* ""
सुनीलानंद महंत
🙅fact🙅
🙅fact🙅
*प्रणय प्रभात*
तेरी मधुर यादें
तेरी मधुर यादें
Dr. Ramesh Kumar Nirmesh
मन की चुप्पी
मन की चुप्पी
Shashi Mahajan
न अच्छे बनो न बुरे बनो
न अच्छे बनो न बुरे बनो
Sonam Puneet Dubey
Loading...