कौन रहा है दुनिया में
सभी जगत को छोड़ चलेंगे, कौन रहा है दुनिया में,
तुम न रहोगे हम न रहेंगे, कौन रहा है दुनिया में?
हाय समय के हाँथों कितने जीव जगत में छले गये,
कितने पंछी नीड़ बनाकर नीर बहाकर चले गये,
बारी बारी सभी उड़ेंगे, कौन रहा है दुनिया में-
तुम न रहोगे हम न रहेंगे, कौन रहा है दुनिया में?
अबतक अनगिन लोग यहाँ पर जन्म लिए आबाद रहे,
वे भी दुनिया छोड़ चले जो सपनों की बुनियाद रहे,
इसी नदी में सभी बहेंगे, कौन रहा है दुनिया में-
तुम न रहोगे हम न रहेंगे, कौन रहा है दुनिया में?
समय के आगे दुनिया की सुन लो है औकात यही,
सूरज चाँद सितारे भी हैं अमर नहीं सच बात यही,
वे मूरख जो दंभ करेंगे, कौन रहा है दुनिया में-
तुम न रहोगे हम न रहेंगे कौन रहा है दुनिया में?
– आकाश महेशपुरी
दिनांक- 27/07/2021