कोई दीपक ऐंसा भी हो / (मुक्तक)
:: कोई दीपक ऐंसा भी हो ::
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जगमग कर दे जो अंतस्थल, कोई दीपक ऐंसा भी हो ।
और शिखा न उगले काजल, कोई दीपक ऐंसा भी हो ।
जिसके तले न हो अँधियारा, कोई दीपक ऐंसा भी हो ।
केवल , केवल हो उजियारा, कोई दीपक ऐंसा भी हो ।
—– ईश्वर दयाल गोस्वामी ।