की तरह
✴️अरकान- फ़ाइलुन फ़ाइलुन फ़ाइलुन फ़ाइलुन
✴️वज़्न-
212 212 212 212
चाहती हूँ जिसे ज़िंदगी की तरह।
आश्ना वो मिला अजनबी की तरह।
इक हसीं ख्वाब थे आँख में वो कभी
बादलों में छिपे चाँदनी की तरह।
नीलम शर्मा ✍️
आश्ना-परिचित