किसी भी चीज़ की आशा में गवाँ मत आज को देना किसी भी चीज़ की आशा में गँवा मत आज को देना मुहब्बत साज़ हर आदत लम्हा अंदाज़ को देना आर. एस. ‘प्रीतम’