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4 May 2024 · 1 min read

काश कोई होता

काश कोई होता
जो समझ पाता मेरे इशारे,
कोई होता जो सुन लेता
मेरे दिल के सारे किस्से-कहानी,
कोई होता जो समझता
जिंदगी का मेरा दुख-दर्द,
कोई होता जो भरता
मेरे नीरस जीवन का शून्य,
कोई होता जो बनता चंदा
और करता रोशन जहां सारा मेरा।

– सुमन मीना (अदिति)
लेखिका एवं साहित्यकार

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