Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
9 Jan 2017 · 1 min read

*** कभी कभी ***

कभी कभी
मौत भी
हम से
इतनी
खुश
होती है
और
कहती है
जा
मैंने तुझे
छोड़ दिया
कुछ समय
और
जिंदगी के
भरपूर
मजे ले ।।
?मधुप बैरागी
जिंदगी
गुजरती
जा रही
है
फासला
मौत से
होता
जस रहा
कम
अब नहीं
इस बात
का गम ।।
?मधुप बैरागी

Language: Hindi
248 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from भूरचन्द जयपाल
View all
You may also like:
जब काँटों में फूल उगा देखा
जब काँटों में फूल उगा देखा
VINOD CHAUHAN
बाल कविता: नानी की बिल्ली
बाल कविता: नानी की बिल्ली
Rajesh Kumar Arjun
रंग आख़िर किसलिए
रंग आख़िर किसलिए
*Author प्रणय प्रभात*
गुजार दिया जो वक्त
गुजार दिया जो वक्त
Sangeeta Beniwal
*......इम्तहान बाकी है.....*
*......इम्तहान बाकी है.....*
Naushaba Suriya
???
???
शेखर सिंह
बड़ा हीं खूबसूरत ज़िंदगी का फलसफ़ा रखिए
बड़ा हीं खूबसूरत ज़िंदगी का फलसफ़ा रखिए
Shweta Soni
राजा रंक फकीर
राजा रंक फकीर
Harminder Kaur
Dard-e-madhushala
Dard-e-madhushala
Tushar Jagawat
दोहे-
दोहे-
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
*वधू (बाल कविता)*
*वधू (बाल कविता)*
Ravi Prakash
हिंदी दलित साहित्य में बिहार- झारखंड के कथाकारों की भूमिका// आनंद प्रवीण
हिंदी दलित साहित्य में बिहार- झारखंड के कथाकारों की भूमिका// आनंद प्रवीण
आनंद प्रवीण
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
सुबह सुबह घरवालो कि बाते सुनकर लगता है ऐसे
सुबह सुबह घरवालो कि बाते सुनकर लगता है ऐसे
ruby kumari
"स्वर्ग-नरक की खोज"
Dr. Kishan tandon kranti
भीनी भीनी आ रही सुवास है।
भीनी भीनी आ रही सुवास है।
Omee Bhargava
आओ हम मुहब्बत कर लें
आओ हम मुहब्बत कर लें
Shekhar Chandra Mitra
Tera wajud mujhme jinda hai,
Tera wajud mujhme jinda hai,
Sakshi Tripathi
अष्टम् तिथि को प्रगटे, अष्टम् हरि अवतार।
अष्टम् तिथि को प्रगटे, अष्टम् हरि अवतार।
डॉ.सीमा अग्रवाल
💜सपना हावय मोरो💜
💜सपना हावय मोरो💜
सुरेश अजगल्ले 'इन्द्र '
प्राकृतिक के प्रति अपने कर्तव्य को,
प्राकृतिक के प्रति अपने कर्तव्य को,
goutam shaw
सबसे बढ़कर जगत में मानवता है धर्म।
सबसे बढ़कर जगत में मानवता है धर्म।
महेश चन्द्र त्रिपाठी
बरखा रानी
बरखा रानी
लक्ष्मी सिंह
हाथ छुडाकर क्यों गया तू,मेरी खता बता
हाथ छुडाकर क्यों गया तू,मेरी खता बता
डा गजैसिह कर्दम
3271.*पूर्णिका*
3271.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
यादें
यादें
Tarkeshwari 'sudhi'
कब मेरे मालिक आएंगे!
कब मेरे मालिक आएंगे!
Kuldeep mishra (KD)
उमंग
उमंग
Akash Yadav
अपनों को थोड़ासा समझो तो है ये जिंदगी..
अपनों को थोड़ासा समझो तो है ये जिंदगी..
'अशांत' शेखर
** सावन चला आया **
** सावन चला आया **
surenderpal vaidya
Loading...