Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
26 Jul 2020 · 1 min read

कड़वा सच – भाग 1

“अगर लोगों के चेहरे पर मुस्कान देखना चाहते हैं,
तो कृपया प्यार बांटे काम नहीं “

Language: Hindi
5 Likes · 3 Comments · 371 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
कुंवारों का तो ठीक है
कुंवारों का तो ठीक है
शेखर सिंह
जीवन में जब विश्वास मर जाता है तो समझ लीजिए
जीवन में जब विश्वास मर जाता है तो समझ लीजिए
प्रेमदास वसु सुरेखा
■ 100% यक़ीन मानिए।
■ 100% यक़ीन मानिए।
*Author प्रणय प्रभात*
इंसान कहीं का भी नहीं रहता, गर दिल बंजर हो जाए।
इंसान कहीं का भी नहीं रहता, गर दिल बंजर हो जाए।
Monika Verma
वक्त की कहानी भारतीय साहित्य में एक अमर कहानी है। यह कहानी प
वक्त की कहानी भारतीय साहित्य में एक अमर कहानी है। यह कहानी प
कार्तिक नितिन शर्मा
इस मोड़ पर
इस मोड़ पर
Punam Pande
कविता क़िरदार है
कविता क़िरदार है
Satish Srijan
सागर तो बस प्यास में, पी गया सब तूफान।
सागर तो बस प्यास में, पी गया सब तूफान।
Suryakant Dwivedi
आचार संहिता लगते-लगते रह गई
आचार संहिता लगते-लगते रह गई
Ravi Prakash
आज़ादी की जंग में यूं कूदा पंजाब
आज़ादी की जंग में यूं कूदा पंजाब
कवि रमेशराज
*गैरों सी! रह गई है यादें*
*गैरों सी! रह गई है यादें*
Harminder Kaur
"मैं तेरी शरण में आई हूँ"
Shashi kala vyas
Maine anshan jari rakha
Maine anshan jari rakha
Sakshi Tripathi
दौड़ी जाती जिंदगी,
दौड़ी जाती जिंदगी,
sushil sarna
24/227. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
24/227. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
गृहस्थ के राम
गृहस्थ के राम
Sanjay ' शून्य'
होली (होली गीत)
होली (होली गीत)
ईश्वर दयाल गोस्वामी
ज़िन्दगी तुमको ढूंढ ही लेगी
ज़िन्दगी तुमको ढूंढ ही लेगी
Dr fauzia Naseem shad
अधीर मन खड़ा हुआ  कक्ष,
अधीर मन खड़ा हुआ कक्ष,
Nanki Patre
ड्यूटी और संतुष्टि
ड्यूटी और संतुष्टि
Dr. Pradeep Kumar Sharma
दिल से निभाती हैं ये सारी जिम्मेदारियां
दिल से निभाती हैं ये सारी जिम्मेदारियां
Ajad Mandori
दादी माॅ॑ बहुत याद आई
दादी माॅ॑ बहुत याद आई
VINOD CHAUHAN
💐प्रेम कौतुक-509💐
💐प्रेम कौतुक-509💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
"फलों की कहानी"
Dr. Kishan tandon kranti
मत पूछो मुझ पर  क्या , क्या  गुजर रही
मत पूछो मुझ पर क्या , क्या गुजर रही
श्याम सिंह बिष्ट
हिन्दू मुस्लिम करता फिर रहा,अब तू क्यों गलियारे में।
हिन्दू मुस्लिम करता फिर रहा,अब तू क्यों गलियारे में।
शायर देव मेहरानियां
सपना है आँखों में मगर नीद कही और है
सपना है आँखों में मगर नीद कही और है
Rituraj shivem verma
अभी तो साँसें धीमी पड़ती जाएँगी,और बेचैनियाँ बढ़ती जाएँगी
अभी तो साँसें धीमी पड़ती जाएँगी,और बेचैनियाँ बढ़ती जाएँगी
पूर्वार्थ
बेवफाई मुझसे करके तुम
बेवफाई मुझसे करके तुम
gurudeenverma198
जै जै अम्बे
जै जै अम्बे
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
Loading...